Kolkata Varanasi Expressway: अब बनारस से कोलकाता जाइए केवल 7 घंटों मे, यहाँ बनने जा रहा 3000 करोड़ की लागत से नया एक्सप्रेसवे
भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI) जल्द ही NH-319B का निर्माण शुरू करेगा, जिसका कोड नेम वाराणसी-कोलकाता एक्सप्रेसवे है। यह शुरू होने पर वाराणसी से कोलकाता की दूरी 6-7 घंटे में तय की जा सकेगी।
Haryana Update, New Delhi: अब वाराणसी-कोलकाता एक्सप्रेसवे पर वाराणसी से कोलकाता जाना आसान हो जाएगा। नवंबर में बंगाल-रांची-कोलकाता ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे का निर्माण शुरू होगा। निर्माण एजेंसी एनकेएस प्रोजेक्ट प्राइवेट लिमिटेड गुड़गांव और PNC इंफ्राटेक प्राइवेट लिमिटेड आगरा को दी गई है। दोनों कंपनियों ने अनुबंध बनाया है। 89 गांवों में, तीन जिलों में, 338 करोड़ रुपये की लागत से जमीन अधिग्रहण की गई है।
वाराणसी और कोलकाता की दूरी कम होगी
एक्सप्रेसवे से कोलकाता और वाराणसी की दूरी लगभग 80 किलोमीटर कम हो जाएगी। NH19 फिलहाल 690 किलोमीटर तक की दूरी तय करता है। नया राजमार्ग, जो NH19 के दक्षिण में बनेगा और उसके समानांतर चलेगा, 610 किलोमीटर का होगा।
रोड वाराणसी के पास चंदौल से शुरू होगा और मुगलसराय से गुजरने के बजाय बिहार में शुरू होगा और लगभग 160 किलोमीटर चलकर गया के इमामगंज में निकल जाएगा।
नवंबर में बंगाल-रांची-कोलकाता ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे का निर्माण शुरू होगा। 692 हेक्टेयर जमीन की अधिग्रहण प्रक्रिया पूरी हो चुकी है। सर्वे रिपोर्ट को भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण ने अंतिम रूप दिया है।
निर्माण एजेंसी एनकेएस प्रोजेक्ट प्राइवेट लिमिटेड गुड़गांव और पीएनसी इंफ्राटेक प्राइवेट लिमिटेड आगरा को दी गई है। दोनों कंपनियों ने अनुबंध बनाया है। निर्माण कंपनियों को चंदौली, कैमूर और रोहतास में 90 किमी की सिक्स लेन बनानी होगी। चार बड़े पुल और 28 छोटे पुल बनाए जाएंगे। स्थलों को छह फ्लाईओवर, तीन टोल प्लाजा, 44 अंडरपास और छोटे पुल और छह इंटरचेंज के निर्माण के लिए निर्धारित किया गया है।
इस परियोजना को तीन पैकेजों में पूरा किया जाएगा। इसके निर्माण मे लगभग 2,998 करोड़ रुपये की लागत खर्च होगी। सड़क चंदौली के रेवासा गांव से रोहतास के कोनकी गांव में समाप्त होगी। बजट पास हो गया है। 89 गांवों में, तीन जिलों में, 338 करोड़ रुपये की लागत से जमीन अधिग्रहण की गई है।
चंदौली के रेवासा से शिहोरिया कैमूर तक 27 किलोमीटर लंबी सड़क 994 करोड़ रुपये की लागत से 193 हेक्टेयर जमीन अधिग्रहित है, जबकि शिहोरिया से शिवगांव भभुआ तक 27 किलोमीटर लंबी सड़क 891 करोड़ रुपये की लागत से 321 हेक्टेयर जमीन अधिग्रहित है, जबकि शिवगांव से कोनकी रोहतास तक 36 किलोमीटर लंबाई की सड़क 1113 करोड़ रुपये की लागत और इसके लिए 178 हेक्टेयर भूमि खरीदी गयी है।
इस परियोजना से कई लाभ होंगे
व्यापारिक और आर्थिक लाभ
बेहतर सड़क संपर्क
ट्रेफिक की समस्या से छुटकारा
पश्चिम बंगाल, उत्तर प्रदेश, बिहार और झारखंड में समुद्री व्यापार होगा बेहतर
कोलकाता और हल्दिया के बंदरगाहों का उपयोग करना आसान
समय की बचत
वाहन 100 km/h की गति से चलेगा
रेलवे उत्तर प्रदेश, बिहार, झारखंड और पश्चिम बंगाल से गुजरेगा। योजना का कुल व्यास 610 किलोमीटर होगा। Bharatmala Yojana का एक भाग है। इस नए एक्सप्रेसवे पर वाहन की गति 100 km/h राखी गयी है। कोलकाता से बनारस की दूरी तय करने मे आपको 6 घंटों का समय लगेगा। रोड पुराने राष्ट्रीय राजमार्ग दो के सामने बनाया जाएगा। कैमूर में भी 5 किमी लंबी सुरंग बनेगी। उत्तर प्रदेश में करीब 22 किलोमीटर का काम होगा।