Chanakya Niti: इस मामले में नहीं टिक सकते पुरुष महिलाओं के सामने, जानिए खास बात

Chandra Niti: आचार्य चाणक्य प्राचीन भारत के एक गुरु थे, जिनकी शिक्षाएं आज भी महत्वपूर्ण हैं। चाणक्य ने नीति शास्त्र में जीवन के हर पहलू पर अपने विचार व्यक्त किए हैं। आज भी लोगों को उनकी शिक्षाओं को अपने जीवन में लागू करने पर बहुत अच्छे परिणाम मिलते हैं।
वहीं चाणक्य ने नीतिशास्त्र (Chandra Niti) में भी स्त्री-पुरुष गणों का उल्लेख किया है। ऐसे में आज हम आपको बताएंगे कि आचार्य चाणक्य ने स्त्रियों के किन गुणों को पुरुषों से अधिक महत्वपूर्ण बताया है। यानी महिलाएं इन गुणों में पुरुषों से हमेशा आगे हैं। आइए इनके बारे में जानें।
इन मामलों में स्त्रियां पुरुषों से बेहतर हैं।
स्त्रीणां द्विगुण आहारो बुद्धिस्तासां चतुर्गुणा॥
साहस षड्गुणं चैव कामोष्टगुणं चैव उच्यते॥
इस श्लोक में चाणक्य ने स्त्रियों के चार गुण बताए हैं। महिलाएं इन सभी में हमेशा आगे रहती हैं। आइए प्रत्येक कर को जानें। (Chandra Niti Thoughts)
स्त्री द्विगुण भोजन करें
चाणक्य कहते हैं कि स्त्रियां पुरुषों से अधिक खाती हैं। स्त्रियां पुरुषों की तुलना में दो गुना अधिक खाती हैं। इसकी वजह महिलाओं के शरीर की बनावट है, जो उन्हें अधिक भोजन की आवश्यकता करती है। यही कारण है कि स्त्रियां पुरुषों की तुलना में दोगुना अधिक भोजन करती हैं। (Chandra Niti Tips)
बुद्धिस्तासां चतुर्गुणाः
चाणक्य ने स्त्रियों को पुरुषों से चार गुना बुद्धिमान बताया है। यानि स्त्रियों की बुद्धि पुरुषों की तुलना में चार गुना अधिक होती है। यही कारण है कि स्त्रियां जीवन में आने वाली चुनौतियों को अच्छी तरह से संभाल लेती हैं। स्त्रियों की समझदारी और कौशल से परिवार हमेशा एकजुट रहता है।
सज्जन षड्गुणं
पुरुष साहसी हो सकते हैं, लेकिन आचार्य चाणक्य ने कहा कि स्त्रियां पुरुषों से छह गुना अधिक साहसी होती हैं। लेकिन स्त्रियां समय आने पर ही साहस दिखाती हैं। मुश्किल से मुश्किल परिस्थितियों में भी स्त्रियां साहस दिखाते हैं।
सामूहिक स्वाद
चाणक्य ने कहा कि स्त्रियां भी पुरुषों से अधिक कामुक हैं। ऊपर दिए गए श्लोक के अनुसार, स्त्रियों में पुरुषों से आठ गुना अधिक कामुकता होती है।