Haryana News: खट्टर सरकार ने बनाया ये बेहतरीन प्लान, अब से नही कर पाएगे ये काम
Haryana Government:आपको बता दे कि हरियाणा सरकार को समय के साथ-साथ घाटा उठाना पड़ रहा था क्योंकि राज्य सरकारी विभागों के कर्मचारी वित्त वर्ष के प्रारंभिक महीने में बजट को सही तरीके से नहीं उपयोग करते थे, लेकिन जब वित्त वर्ष के अंतिम महीने आते हैं, तो कर्मचारी अत्यधिक खर्च करने लगते हैं। इसलिए खर्चों को नियंत्रित करना मुश्किल हो जाता है।
Haryana Update: व्यवसाय वर्ष के अंतिम तीन महीने में कर्मचारियों की प्रवृत्ति लगातार बढ़ी है। वित्त विभाग इस प्रवृत्ति को नियंत्रित करने के लिए कठोर हो गया है। स्वीकृत बजट को खर्च करने के लिए वित्त विभाग ने सभी विभागों को कठोर कर दिया है। Finantial Department ने कहा कि सभी विभागों को पहली तिमाही में 25 प्रतिशत, दूसरी तिमाही में 20 प्रतिशत, तीसरी तिमाही में 25 प्रतिशत और चौथी और अंतिम तिमाही में 30 प्रतिशत तक का बजट खर्च करने का आदेश दिया गया है।
वित्त विभाग के अधिकारी बैठक में नहीं लेगे भाग
अब से, वित्त विभाग के अधिकारी सभी विभागों की खरीद नीतियों और निविदा समितियों की बैठकों में भाग नहीं लेंगे। बल्कि विभाग द्वारा स्वीकृत विभिन्न परियोजनाओं का फैसला प्रशासनिक सचिव ही करेगा। इसके अलावा, वित्त विभाग के अधिकारी केवल वित्त विभाग की सहमति से समिति में उनके प्रतिनिधि को शामिल करने के लिए आयोजित बैठकों में भाग लेंगे।
बजट के लिए निर्धारित प्रतिशतता
हरियाणा के प्रधान महालेखागार द्वारा जारी रिपोर्ट में भी यही प्रश्न उठाया गया है कि विभिन्न विभागों के अधिकारी पूंजीगत और राजस्व योजना में फरवरी से मार्च तक ही अधिक धन खर्च क्यों करते हैं। स्वीकृत बजट के बाकी महीनों का उपयोग क्यों नहीं करते? महालेखागार द्वारा जारी इस रिपोर्ट पर सख्त कार्रवाई करते हुए, सभी प्रशासनिक सचिवों को हर तिमाही में बजट में निर्धारित राशि का ही उपयोग करने का आदेश दिया गया।