7th Pay Commission: परसों कर्मचारियों को मिलेगा बड़ा तोहफा, DA बढ़ोतरी को लेकर सरकार ने कही ये बात

7th Pay Commission: यदि किसी कर्मचारी की बेसिक सैलरी 18 हजार रुपये है, तो उसे 40प्रतिशत DA का 7 हजार रुपये मिलेगा। लेकिन पचास प्रतिशत DA होने पर यह बेसिक सैलरी में जोड़ा जाएगा। 

 

Haryana Update: आपको बता दें, की केंद्रीय कर्मचारियों को पहले ही Holi (Holi 2024) गिफ्ट दिया गया है। केंद्रीय सरकार ने DA Hike (महंगाई भत्ता) को 50% बढ़ा दिया। 1 जनवरी 2024 से लागू होगा। मार्च खत्म होने पर एरियर भी मिलेगा। लेकिन अगले कदम क्या होगा? अब आगे की कैलकुलेशन शुरू हो गई है। अब एक संख्या आई है और एक और आने वाला है। 28 मार्च की शाम AICPI इंडेक्स के नवीनतम आंकड़ों की घोषणा होगी। लेबर ब्यूरो इसे 28 मार्च को ही जारी करेगा क्योंकि 29 मार्च को गुड फ्राइडे है, जो शनिवार-रविवार होगा। इससे कर्मचारियों को एक अतिरिक्त सौभाग्यपूर्ण खबर मिलेगी। महंगाई भत्ता (Dearness Allowance) का स्कोर 50% से अधिक होगा। फिर भी, कितना? क्योंकि 50 प्रतिशत महंगाई भत्ता (DA) होने पर इसे शून्य करने का नियम था। इसलिए कब होगा?

केंद्रीय कर्मचारियों के महंगाई भत्ते (DA) का गणित साल 2024 में शून्य से शुरू होगा। दरअसल, 1 जनवरी से लागू होने वाले महंगाई भत्ते का चित्र स्पष्ट है। कर्मचारियों को पचास प्रतिशत DA मिलना चाहिए। Jan 2024 से केंद्रीय कर्मचारियों को 50% महंगाई भत्ता मिलेगा। नियम कहता है कि 50 प्रतिशत महंगाई भत्ता मिलने पर इसे बेसिक सैलरी में मर्ज करके शून्य से गणना की जाएगी। लेकिन सरकार ने अभी तक इस पर कोई स्पष्टीकरण नहीं दिया है। मतलब, महंगाई भत्ते की कैलकुलेशन अभी पचास प्रतिशत से अधिक नहीं होगी। लेकिन शून्य कब होगा?

2016 में सरकार ने 7वां वेतन आयोग लागू करते वक्त महंगाई भत्ते को शून्य कर दिया था. 1 जुलाई 2024 से नया महंगाई भत्ता लागू होगा। नियमों के अनुसार, महंगाई भत्ता पचास प्रतिशत तक पहुंचने पर इसे शून्य कर दिया जाएगा. पचास प्रतिशत के बाद कर्मचारियों को बेसिक सैलरी, यानी न्यूनतम सैलरी में जोड़ दिया जाएगा, दिया जाएगा। यदि किसी कर्मचारी की बेसिक सैलरी 18 हजार रुपये है, तो उसे 40प्रतिशत DA का 7 हजार रुपये मिलेगा। लेकिन पचास प्रतिशत DA होने पर यह बेसिक सैलरी में जोड़ा जाएगा, जिससे महंगाई भत्ता फिर से शून्य हो जाएगा। मतलब यह है कि बेसिक सैलरी का रिविजन 27,000 रुपए हो जाएगा। लेकिन सरकार को फिटमेंट भी बदलना पड़ सकता है।

आखिर महंगाई भत्ता शून्य क्यों हो रहा है?
जब भी नया वेतनमान लागू होता है, कर्मचारियों को DA मिलता है, जो उनके मूल वेतन में जोड़ा जाता है। जानकारों का कहना है कि कर्मचारियों का शत-प्रतिशत डीए मूल वेतन में जोड़ा जाना चाहिए, लेकिन ऐसा नहीं होता। वित्तीय स्थिति परेशान करती है। 2016 में, हालांकि, ऐसा किया गया था। 2006 में छठे वेतनमान में दिसंबर तक 187 प्रतिशत DA मिल रहा था। डीए का पूरा हिस्सा मूल वेतन में मर्ज किया गया था। इसलिए छठा वेतनमान 1.87 था। तब नए वेतन बैंड और ग्रेड वेतन भी बनाए गए। इसके बावजूद, इसे देने में तीन वर्ष लगे। 

क्या अगला रिविजन चार प्रतिशत होगा?
एक्सपर्ट्स का अनुमान है कि जुलाई में नया महंगाई भत्ता लागू किया जाएगा। क्योंकि सरकार महंगाई भत्ता को वर्ष में दो बार ही बढ़ाती है। जनवरी को मार्च में मंजूरी मिली है। अगला रिविजन अब जुलाई 2024 से शुरू होना चाहिए। ऐसे में महंगाई भत्ता तभी मर्ज किया जाएगा जब यह शून्य से कैलकुलेट हो जाएगा। मतलब, जनवरी से जून 2024 के AICPI इंडेक्स के अनुसार महंगाई भत्ता 4% बढ़ेंगे। स्थिति स्पष्ट होने पर कर्मचारियों की बेसिक सैलरी में पचास प्रतिशत महंगाई भत्ता जोड़ा जाएगा।

ये नियम कब लागू हुए?
2006 में छठे वेतन आयोग के दौरान नया वेतनमान 1 जनवरी 2006 से लागू हो गया था, लेकिन 24 मार्च 2009 को इसकी घोषणा की गई थी। इस देरी की वजह से सरकार को 2008-09, 2009-10 और 2010-11 के तीन वित्तीय वर्षों में 39 से 42 महीने का DA Arrear भुगतान किया गया। नए पे स्केल भी बनाए गए। पांचवें वेतनमान में 8000-13500 पर 186 प्रतिशत DA 14500 था। दोनों को जोड़ने पर कुल वेतन 22,880 हुआ। इसका समकक्ष वेतनमान 15600–39100 था, साथ ही ग्रेड पे 5400 था। तीसरे वेतनमान में वेतन 15600–5400 अतिरिक्त 21000 था, और जनवरी 2009 में 16 प्रतिशत डीए 2226 जोड़ने पर कुल वेतन 23 हजार 226 रुपए था। चौथे वेतन आयोग की सिफारिशें 1986 में, पांचवें वेतन आयोग की 1996 में और छठे वेतन आयोग की 2006 में लागू हुईं। जनवरी 2016 में सातवें कमीशन की सिफारिशें लागू हुईं।