Farming Business Idea : इस चीज़ की खेती आपको कर देगी मालामाल, जानिए उगाने से बेचने तक का तरीका 

आज के समय में हर कोई मोटा पैसा कमाना चाहता है यदि आप भी खेती करके मोटा पैसा कमाना चाहते हैं तो इस खबर को पूरा जानिए दरअसल मशरूम की खेती आपको मालामाल कर देगी आइये जाने इसकी पूरी प्रक्रिया
 

Haryana Update : कई लोग वर्तमान में काम के बारे में सोच रहे हैं। बहुत से लोग ऐसे काम की तलाश में रहते हैं जो घर पर आसानी से किया जा सके। इन दोनों जरूरतों को एक साथ पूरा किया जा सकता है। बिना ज्यादा पैसा लगाए एक लाभदायक घरेलू काम शुरू किया जा सकता है।

पिछले कुछ वर्षों में देश में Mashroom की मांग लगातार बढ़ रही है और इसकी कीमतों में भी काफी बढ़ोतरी हो रही है। इससे किसान Mashroom की फ़ार्मिंग से अच्छी आय अर्जित करने में सक्षम हो गए हैं।

आप घर पर फ़ार्मिंग करके डेढ़ महीने में अच्छी खासी कमाई कर सकते हैं। बड़ी बात यह है कि इस बिज़नस को कुछ हजार रुपये के निवेश से बहुत आसानी से शुरू किया जा सकता है.

लेकिन ये तो फ़ार्मिंग है हम यहां Mashroom की फ़ार्मिंग के बिज़नस के बारे में बात कर रहे हैं. इस बिज़नस को करने से हर महीने हजारों से लाखों रुपये तक की कमाई हो सकती है. Mashroom की फ़ार्मिंग का बिज़नस आप महज 2 से 3 हजार रुपये के निवेश से शुरू कर सकते हैं. Mashroom की फ़ार्मिंग छोटे से घर में भी शुरू की जा सकती है. डेढ़ से दो महीने बाद भी खूब पैसा कमाना संभव है।


Mashroom उत्पादक पूजा पाल ने कहा कि Mashroom की फ़ार्मिंग का सबसे अच्छा समय मार्च से अक्टूबर तक है। इसे तैयार करने के लिए भूसे में कुछ विशेष रसायन मिलाए जाते हैं। इन रसायनों के प्रयोग से पराली को जैविक खाद में बदला जाता है, इस पूरी प्रक्रिया में काफी समय लग सकता है। उन्होंने कहा कि इसमें करीब 30 दिन लगेंगे.

जब खाद तैयार हो जाए तो 6 से 7 इंच मोटी क्यारी बना लें। खाद से बने इस बेड में Mashroom बोए जाते हैं। उसके बाद Mashroom को उगने में लगभग 35 से 40 दिन का समय लगता है। Mashroom 35 से 40 दिनों के बाद आसानी से उग जाता है।

इस बिज़नस को शुरू करने के लिए शेड एरिया की जरूरत होती है. इसके अलावा Mashroom की फ़ार्मिंग के लिए एक अलग क्षेत्र तैयार किया जाना चाहिए। जहां Mashroom उगाए जाते हैं, वहां शेड और उचित वेंटिलेशन बहुत महत्वपूर्ण है, जो फसल की गुणवत्ता में सुधार करता है। उचित वातन के साथ-साथ यह बहुत महत्वपूर्ण है कि खाद अच्छी गुणवत्ता की हो, अन्यथा फसल की गुणवत्ता प्रभावित होगी।