Vodafone-Idea:नया सिमकार्ड लेने पर अब नहीं होगी ये दिक्कत, लॉन्च किया सेल्फ KYC सिस्टम
वोडाफोन-आइडिया ने अपने प्रीपेड और पोस्टपेड यूजर्स के लिए सेल्फ केवाईसी सिस्टम शुरू किया है। कंपनी ने केवाईसी प्रोसेस को आसान बनाने के लिए नया सिस्टम शुरू किया है।
वोडाफोन-आइडिया ने अपने प्रीपेड और पोस्टपेड यूजर्स के लिए सेल्फ केवाईसी सिस्टम शुरू किया है। कंपनी ने केवाईसी प्रोसेस को आसान बनाने के लिए नया सिस्टम शुरू किया है।
दरअसल, पहले अगर कोई ग्राहक नया पोस्टपेड या प्रीपेड सिम खरीदता था तो उसे केवाईसी के लिए कंपनी के आधिकारिक स्टोर पर जाना पड़ता था। लेकिन अब नए नियम के बाद केवाईसी की प्रक्रिया काफी आसान हो गई है।
यह भी पढ़े: Mustard Oil Price: सरसों के तेल में आई गिरावट, जानिये कीमत
दरअसल VI को डिपार्टमेंट ऑफ टेलीकम्यूनिकेशन (DOT) ने KYC प्रोसेस को आसान बनाने के लिए कहा था, जिसके बाद कंपनी ने यह फैसला लिया है। फिलहाल कंपनी की ओर से कोलकाता और कर्नाटक में सेल्फ-केवाईसी सिस्टम शुरू किया गया है, जिसे धीरे-धीरे देश के अन्य शहरों में भी बढ़ाया जा रहा है। एक बार देश भर में लॉन्च हो जाने के बाद, ग्राहक आसानी से अपने घर बैठे आराम से प्रीपेड या पोस्टपेड सिम ऑर्डर कर सकते हैं। ऑर्डर देने के बाद उन्हें केवाईसी के लिए कहीं जाने की जरूरत नहीं होगी।
ऐसे करें सेल्फ केवाईसी
सेल्फ केवाईसी के जरिए नया सिम कार्ड ऑर्डर करने के लिए सबसे पहले आपको Vi-myvi.in/ की ऑफिशियल वेबसाइट पर जाना होगा। अब यहां आपको न्यू कनेक्शन सेक्शन में जाना है और बताए गए स्टेप्स को फॉलो करना है।
यहां दिए गए नंबर और प्लान को चुनें और फिर केवाईसी प्रक्रिया को पूरा करें। K-YC प्रक्रिया के लिए आपको आधार कार्ड की आवश्यकता होगी।
ऑथेंटिकेशन के लिए आपको लाइव फोटो खींचनी होगी और 10 सेकेंड का वीडियो रिकॉर्ड करना होगा। डिजिटल प्रमाणीकरण हो जाने के बाद, आप सिम कार्ड के लिए ऑर्डर दे सकते हैं।
सिम कार्ड की डिलीवरी के समय आपको मोबाइल फोन पर प्राप्त ओटीपी को डिलीवरी एक्जीक्यूटिव के साथ साझा करना होगा।
यह भी पढ़े:PM Kisan:14वीं किस्त से पहले बड़ा अपडेट , करोड़ों किसानों की हुई बल्ले-बल्ले
केवाईसी क्यों जरूरी है?
दरअसल, टेलीकॉम ऑपरेटरों ने केवाईसी प्रक्रिया को अनिवार्य कर दिया है ताकि उन्हें अपने ग्राहकों का पता और पहचान पता चल सके। KYC करने से सर्विस प्रोवाइडर और ग्राहक दोनों की सुरक्षा बनी रहती है। मुख्य रूप से KYC इसलिए किया जाता है ताकि ग्राहक और कंपनी को फर्जी लोगों से बचाया जा सके. कई लोग गलत नंबर लेकर घोटाले आदि को अंजाम देते हैं। ऐसे में उन्हें ट्रेस करना मुश्किल है क्योंकि उन्होंने बिना केवाईसी के सिम खरीदा है।