Haryana Pension Scam: हरियाणा के इस शहर में युवाओं को दी जा रही थी बुढ़ापा पेंशन, ऐसे हुआ खुलासा

Haryana Pension Scam: पेंशन को लेकर हरियाणा काफी चर्चाओं में बना हुआ हैं, वहीं हरियाणा के पलवल जिले में जवानों को भी बुढ़ापे की पेंशन मिल रही है, इसे सिस्टम की खामी कहीं जाएं या फिर अफसरों की मेहरबानी,, लेकिन इस मामले में सीएम फ्लाइंग स्क्वॉड की शिकायत पर जिला समाज कल्याण विभाग 2 अधिकारियों और 2 कर्मचारियों समते 11 लोगों के खिलाफ धोखाधड़ी और तथ्य छिपाने का केस दर्ज किया गया हैं
 

Haryana Update: पेंशन को लेकर हरियाणा काफी चर्चाओं में बना हुआ हैं, वहीं हरियाणा के पलवल जिले में जवानों को भी बुढ़ापे की पेंशन मिल रही है, इसे सिस्टम की खामी कहीं जाएं या फिर अफसरों की मेहरबानी,, लेकिन इस मामले में सीएम फ्लाइंग स्क्वॉड की शिकायत पर जिला समाज कल्याण विभाग 2 अधिकारियों और 2 कर्मचारियों समते 11 लोगों के खिलाफ धोखाधड़ी और तथ्य छिपाने का केस दर्ज किया गया हैं, हालांकि कैंप थाने की पुलिस ने अभी तक किसी भी आरोपी को गिरफ्तार नहीं किया हैं। गौरतलब हैं कि जिले में इस तरह का मामला कोई पहली बार सामने नहीं हैं, बल्कि पहले भी 40 लोगों को वृद्धावस्था सम्मान भत्ता जारी करने का केस दर्ज हो चुका हैं, लेकिन कार्रवाई फाइलों के पन्नों में दबी हुई ही। वहीं डिप्टी कमिश्नर नेहा सिंह का कहना हैं कि जिनके खिलाफ मामला दर्ज हुआ हैं उनके खिलाफ विभागीय कार्रवाई अमल में लाई जाएगा।

CM फ्लाइंग स्क्वॉड के सब इंस्पेक्टर राजेंद्र कुमार ने कहा कि हथीन उपमंडल के गांव लड़कामी के 7 लोगों को मार्च 2021 से वृद्धावस्था सम्मान भत्ता जारी किया जा रहा था। जिला समाज कल्याण विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों ने मिलीभगत करके, फर्जी दस्तावेज पर भत्ता मंजूर कराया हैं। भत्ते के लाभार्थी अब्दुल रसीद, सहनाज, हासम, रसीद, सायरा, हमीद व अमीना को वृद्धावस्था सम्मान भत्ता मंजूर कराने के लिए फर्जी डॉक्युमेंट्स का इस्तेमाल किया हैं, वहीं विभागीय अधिकारियों ने हार्ड डॉक्युमेंट्स की जगह स्कैन दस्तावेज के प्रयोग किए।

ऐसे किया गया फर्जीवाड़ा | Haryana Pension Scam

बता दें कि आरोपी लाभार्थियों ने अपनी आयु को 60 वर्ष या उससे अधिक साबित करने के लिए सामान्य अस्पताल पलवल के मेडिकल बोर्ड से जारी आयु आंकलन प्रमाण पत्र को आधार बनाया। सिविल अस्पताल के मुख्य चिकित्सा अधिकारी के अनुसार इन आयु आंकलन प्रमाण पत्रो पर डॉ. सरफराज खान ने लिखित में सत्यापित किया हैं, जबकि उस पर सिग्नेचर उनके नहीं हैं, सातों के आयु आकलन प्रमाण पत्र फर्जी पाए गए हैं। इसके अलावा रसीद, सहनाज, रसीद, सायरा, हमीद व अमीना के मतदाता पहचान पत्र भी फर्जी मिला, जो जिला निर्वाचन अधिकारी नूंह से जारी कराया गया हैं।

इन अधिकारियों के खिलाफ दर्ज किया गया केस

इस पूरे मामले में CM फ्लाइंग स्क्वॉड की शिकायत पर पुलिस ने जिला समाज कल्याण विभाग में क्लर्श प्रवेश कुमार, डेटा ऑपरेटर मंजीत, तत्कालीन जिला समाज कल्याण अधिकारी सरफराज खान और रविंद्र सिंह के अलावा आरोपी लाभार्थी अब्दुल रसीद, शहनाज, हासम, रसीद, सायरा, हमीद, अमीना के खिलाफ केस दर्ज किया गया हैं। डीएसपी दिनेश यादव का कहना हैं कि मामले की जांच की जा रही हैं और आरोपी लाभार्थियों को बहुत जल्द गिरफ्तार कर लिया जाएगा।